World Heritage Day 2023: हमारे पूर्वजों ने हमें एक समृद्ध सांस्कृतिक अतीत के रूप में एक विरासत सौंपी है, और इन धरोहर को सरंक्षित करना हमारा कर्त्तव्य है| इसी लिए हमारी प्राचीन विरासत को संरक्षित करने के महत्व के बारे में जागरूकता फैलाने के लिए साल में एक बार ‘विश्व विरासत दिवस’ या विश्व धरोहर दिवस (World Heritage Day) मनाया जाता है| आइये जानते हैं विश्व विरासत दिवस कब मनाते हैं और क्या है इस वर्ष वर्ल्ड हेरिटेज डे का विषय (World Heritage Day 2023 Theme):
Table of Contents
विश्व धरोहर दिवस कब है? (History of World Heritage Day in Hindi)
विश्व धरोहर दिवस (World Heritage Day) को विश्व विरासत दिवस भी कहते हैं। हर साल 18 अप्रैल को विश्व विरासत दिवस मनाया जाता है। इसे शुरुआत में विश्व स्मारक दिवस के तौर पर मनाया जाता था। हालांकि यूनेस्को ने इस दिन को विश्व विरासत दिवस या धरोहर दिवस के रूप में बदल दिया।
1968 में एक अंतरराष्ट्रीय संगठन ने दुनिया भर की प्रसिद्ध इमारतों और प्राकृतिक स्थलों की सुरक्षा का प्रस्ताव पहली बार प्रस्तुत किया था, जिसे स्टॉकहोम में आयोजित हुए एक अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन में पारित कर दिया गया। उसके बाद यूनेस्को वर्ल्ड हेरिटेज सेंटर की स्थापना हुई। उस समय 18 अप्रैल 1978 में विश्व स्मारक दिवस के तौर पर इस दिन को मनाने की शुरुआत हुई।
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उस दौरान विश्व में कुल 12 स्थलों को ही विश्व स्मारक स्थलों की सूची में शामिल किया गया था। बाद में 18 अप्रैल 1982 को ट्यूनीशिया में ‘इंटरनेशनल काउंसिल ऑफ मोनुमेंट्स एंड साइट्स’ ने सबसे पहले विश्व धरोहर दिवस मनाया। उसके एक साल बाद 1983 नवंबर माह में यूनेस्को ने स्मारक दिवस को ‘विश्व विरासत दिवस’ के तौर पर मनाने की घोषणा की।
विश्व विरासत दिवस 2023 का विषय (World Heritage Day 2023 theme)
प्रत्येक वर्ष, वर्ल्ड हेरिटेज डे के अवसर पर, ICOMOS (International Council on Monuments and Sites) अपने सदस्यों, आईसीओएमओएस राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय वैज्ञानिक समितियों, कार्य समूहों और भागीदारों द्वारा आयोजित की जाने वाली गतिविधियों के लिए एक विषय का प्रस्ताव करता है| 2023 में, यह दिन “वर्किंग ऑन द फ्यूचर” विषय के तहत मनाया जा रहा है|
विश्व धरोहर दिवस का महत्व (Importance of World Heritage Day in Hindi )
बात करें विश्व धरोहर दिवस के महत्व की तो हर देश का अपने अतीत और उस अतीत से जुड़ी कई सारी गौरव गाथा है। इन गौरव गाथा की कहानी बयां करती हैं वहां स्थित तात्कालिक समय के स्मारक और धरोहरें। युद्ध, महापुरुष, हार-जीत, कला, संस्कृति आदि को इतिहास के पन्नों पर दर्ज करने के साथ ही उनके सबूत के तौर पर इन स्थलों को सदैव जीवित रहना जरूरी है।
विश्व विरासत दिवस मनाने का तरीका
दुनियाभर में बहुत सारे संगठन हैं, जो धरोहरों के संरक्षण पर काम कर रहे हैं। विश्व विरासत दिवस (World Heritage Day) को यह संगठन अपने अपने तरीके से मनाते हैं। हेरिटेज वाॅक और फोटो वाॅक आदि का इस दिन आयोजन होता है। लोग धरोहरों की यात्रा पर जाते हैं। उनके संरक्षण की शपथ लेते हैं। लोगों को उनके देश की धरोहरों को लेकर जागरूक किया जाता है।

कैसे मनाएं विश्व विरासत दिवस (How to celebrate the World Heritage Day)
- अपने घर के आसपास के किसी पुरातत्व स्थल या भवन पर जाएं जहां एंट्री फीस ना हो और अगर हो भी तब भी वहां अवश्य घूमें.
- अपने बच्चों को इतिहास के बारे में बताएं और किसी स्थल, किले, मकबरे या जगह पर ले जाकर वहां के बारे में रोचक तथ्य बताएं जिससे आने वाली पीढ़ी भी हमारी संस्कृति और इतिहास से परिचित हो सके.
- सरकार को इस दिन किसी विशेष स्थान या व्यक्तित्व का जो भी ऐतिहासिक विरासत के तौर पर देखा जा सके उसके संदर्भ में डाक टिकट जारी करने चाहिए.
- पुरातत्व स्थलों पर गंदगी फैलाने वालों में जागरुकता फैलानी चाहिए ताकि वह ऐसा ना करें.
वर्ल्ड हेरिटेज डे का उद्देश्य (World Heritage Day Significance)
विश्व विरासत दिवस यानि वर्ल्ड हेरिटेज डे, स्मारकों और ऐतिहासिक स्थलों और उनके साथ जुड़े समृद्ध विरासत को संरक्षित करने के लिए एक अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मान्यता प्राप्त दिन है| भारत भी इस दिन अपनी समृद्ध सांस्कृतिक विविधता को उल्लास के साथ मनाता है| इस तिथि को मनाने का उद्देश्य युवा पीढ़ियों को अपनी विरासत को आगे बढ़ाने और हमारी संस्कृति को संरक्षित करने के लिए एक महत्वपूर्ण संदेश साझा करना है|
■ Read in English: World Heritage Day: Protect Cultural Heritage By Doing This
मनुष्य के रूप में हमें अपने सांस्कृतिक विरासत में विविधता का सम्मान करने और आने वाली पीढ़ियों के लिए उन्हें संरक्षित करने की आवश्यकता है| प्राचीन ऐतिहासिक स्मारक एक जीवित आश्चर्य ही हैं, जो इतिहास की कथा व्यक्त करते हैं| भविष्य में लम्बे समय तक इन संपत्तियों की रक्षा करना एक व्यक्ति या समूह के माध्यम से असंभव है| सामुदायिक भागीदारी और वैश्विक जागरूकता चीजों को बदल सकती है और दुनिया भर में हमारी समृद्ध और विविध संस्कृति को संरक्षित करने में मदद कर सकती है|
भारत में विश्व धरोहर स्थल (World Heritage Sites in India)
भारत में यूनेस्को के 40 विश्व धरोहर स्थल हैं| धोलावीरा और रामप्पा मंदिर ‘सांस्कृतिक’ श्रेणी के तहत सूची में पिछले वर्ष ही जोड़े गए हैं| ‘रामप्पा मंदिर’, तेलंगाना और ‘धोलावीरा’, गुजरात को 2021 में यूनेस्को की विश्व विरासत स्थलों की सूची में शामिल किया गया| यह फैसला यूनेस्को की विश्व धरोहर समिति के चीन में आयोजित 44वें सत्र में लिया गया| इसके साथ 2021 में विश्व धरोहर स्थलों की कुल संख्या 38 से बढ़कर 40 हो गई| भारत में मौजूद यूनेस्को के 40 विश्व धरोहर स्थल इस प्रकार हैं:
- अजंता केव्स, महाराष्ट्र (1983) : बौद्ध रॉक-कट गुफा स्मारकों के लिए प्रसिद्ध, यह सिगिरिया पेंटिंग्स की तरह चित्रों और भित्तिचित्रों के साथ समृद्ध रूप से सजाया गया है|
- एल्लोरा केव्स, महाराष्ट्र (1983) : जैन और हिंदू मंदिर और मठ| इन गुफाओं को पहाड़ियों से बाहर निकाला गया था, और यह एक रॉक-कट आर्किटेक्चर है|
- आगरा फोर्ट, उत्तरप्रदेश (1983) : यह मुगल साम्राज्य द्वारा सबसे प्रमुख स्मारकीय संरचनाओं में से एक है|
- ताज महल, उत्तरप्रदेश (1983) : यह दुनिया के सात अजूबों में से एक है| शाहजहां ने अपनी तीसरी पत्नी बेगम मुमताज महल की याद में इस ढांचे का निर्माण कराया था|
- सूर्य मंदिर, उड़ीसा (1984) : यह मंदिर कलिंग वास्तुकला की पारंपरिक शैली के लिए प्रसिद्ध है|
- महाबलीपुरम मोन्यूमेंट, तमिलनाडु (1984) : यह स्मारक महाबलीपुरम के सबसे बड़े ओपन एयर रॉक रिलीफ, मंडप, रथ मंदिर के लिए प्रसिद्ध है| यह एक पल्लव राजवंश वास्तुकला है|
- काज़ीरंगा नेशनल पार्क, असम (1985) : यह दुनिया के एक सींग वाले गैंडों की 2/3 आबादी के लिए प्रसिद्ध है| इसमें दुनिया में बाघों का उच्चतमघनत्व है| साथ ही यह पानी वाली जंगली भैंस, हाथी, स्वाम्प हिरण, और पार्क को महत्वपूर्ण पक्षी क्षेत्र के रूप में भी मान्यता प्राप्त है|
- केवलादेव नेशनल पार्क, राजस्थान (1985) : यह राष्ट्रीय उद्यान मानव निर्मित आर्द्रभूमि पक्षी अभयारण्य, पक्षी विज्ञानियों के लिए हॉटस्पॉट और साइबेरियाई क्रेन के लिए लोकप्रिय है|
- मानस वाइल्डलाइफ सैंक्चुअरी, असम (1985) : यह अभयारण्य प्रोजेक्ट टाइगर रिजर्व, बायोस्फीयर रिजर्व और हाथी रिजर्व के लिए प्रसिद्ध है|
- चर्चेस एंड कॉन्वेन्ट्स ऑफ़ गोवा, गोवा (1986) : यह एशिया में ओरिएंट के रोम, फर्स्ट मैनुएलिन, मैनरियोलॉजिस्ट और एशिया में बारोक आर्ट फॉर्म्स के लिए और पहले लैटिन राइट मास के लिए प्रसिद्ध है|
भारत में विश्व विरासत स्थल कितने हैं 2023 ? UNESCO द्वारा घोषित भारत के विश्व धरोहर कौन से हैं?
यूनेस्को ने भारत के कुल 40 स्थलों को विश्व धरोहर में शामिल किये हैं। इन्हें 3 केटेगरी में विभाजित किये गए हैं।
- सांस्कृतिक धरोहर- 32 स्थल
- प्राकृतिक धरोहर – 7 स्थल
- मिश्रित धरोहर – 1 स्थल
क्रमांक | धरोहर का नाम | धरोहर घोषित वर्ष | राज्य जहाँ स्थित है |
1. | आगरा का किला | 1983 | उत्तर प्रदेश |
2. | फतेहपुर सिकरी | 1986 | उत्तर प्रदेश |
3. | ताज महल | 1983 | उत्तर प्रदेश |
4. | अजंता की गुफाएं | 1983 | महाराष्ट्र |
5. | एल्लोरा की गुफाएं | 1983 | महाराष्ट्र |
6. | एलीफैंटा की गुफाएं | 1987 | महाराष्ट्र |
7. | छत्रपति शिवजी टर्मिनस ( विक्टोरिया टर्मिनस) | 2004 | महाराष्ट्र |
8. | विक्टोरिया गोथिक एंड आर्ट मुंबई | 2018 | महाराष्ट्र |
9. | वेस्टर्न घाट्स (प्राकृतिक) | 2012 | महाराष्ट्र |
10. | नालंदा एवं महावीर | 2016 | बिहार |
11. | महाबोधि मंदिर | 2002 | बिहार |
12. | साँची के बौद्ध मंदिर | 1989 | मध्य प्रदेश |
13. | खजुराहो | 1986 | मध्य प्रदेश |
14. | भीमबेटका | 2003 | मध्य प्रदेश |
15. | चम्पानेर पावागढ़ आर्कियोलॉजिकल पार्क | 2004 | गुजरात |
16. | अहमदबाद का ऐतिहासिक शहर | 2017 | गुजरात |
17. | रानी की वाव, पाटन | 2014 | गुजरात |
18. | गोवा के चर्च और कान्वेंट | 1986 | गोवा |
19. | चोला के मंदिर | 1987 | गोवा |
20. | महाबलीपुरम | 1984 | तमिलनाडु |
21. | माउंटेन रेलवे ऑफ़ इंडिया, | 1999, 2005, 2008 | दार्जीलिंग, शिमला, कालका |
22. | हम्पी | 1986 | कर्णाटक |
23. | पट्टडकल | 1987 | कर्णाटक |
24. | राजस्थान के किले | 2013 | राजस्थान |
25. | जयपुर शहर (Pink City ) | 2019 | राजस्थान |
26. | जंतर- मंतर जयपुर | 2010 | राजस्थान |
27. | हुमायूँ का मक़बरा | 1993 | दिल्ली |
28. | क़ुतुब मीनार | 1993 | दिल्ली |
29. | लाल क़िला | 2007 | दिल्ली |
30. | सुंदरबन नेशनल पार्क | 1987 | पश्चिम बंगाल |
31. | ली कार्बूजिए कैपिटल कांप्लेक्स | 2016 | चंडीगढ़ |
32. | ग्रेट हिमालयन नेशनल पार्क कंज़र्वेशन एरिया | 2014 | हिमाचल प्रदेश |
33. | कोणार्क सूर्य मंदिर | 1984 | ओडिशा |
34. | काज़ीरंगा नेशनल पार्क | 1985 | असम |
35. | मानस वाइल्ड लाइफ सैंक्चुअरी | 1985 | असम |
36. | नंदा देवी एंड वैली ऑफ़ फ्लावर्स नेशनल पार्क 1988 | 1988 | उत्तराखण्ड |
37. | वेस्टर्न घाट्स | 2012 | केरल, कर्णाटक, तमिलनाडु, महाराष्ट्र |
38. | कंचनजंगा नेशनल पार्क | 2016 | सिक्किम |
39. | काकतिया रुद्रेश्वर (रामप्पा) मंदिर | 2021 | तेलंगाना |
40. | धोलावीरा | 2021 | गुजरात |
Slogan and Quotes on World Heritage Day in Hindi
- हमारी विरासत को हम याद रखेंगे, इसे हम ना भूल सकेंगे
- हमारी विरासत का हम संरक्षण करें, पर्वतो, नदी, इमारतों का हम संरक्षण करें
- विश्व विरासत दिवस आया है हम सबको जागरूक करने हैं आया हैं
- आज का दिन हम भूल ना सके, हमारी विरासत को हम कभी भूल ना सके
- विश्व विरासत दिवस मनाए, सारे विश्व को जागरूक करते जाएं
- विश्व विरासत दिवस पर हम कसम खाएं, हमारी विरासत का हम संरक्षण की कसम खाएं
- हमारी संस्कृति और सभ्यता को याद करते जाएं, विश्व विरासत दिवस हम मनाए
- हम सबने अब यह ठाना है, विश्व विरासत दिवस के जरिए सबको जागरूक करते जाना है
- आओ हम सब अपनी विरासत का गुणगान करें, विरासत दिवस पर हम सब गुणगान करें
- देश की विरासत को नुकसान ना पहुंचाएंगे, ना पहुचाने देंगे, देश के प्रति अपना ये कर्तव्य निभाएंगे
- देश की विरासत पर गंदगी ना फैलाएंगे, हम सब मिलकर विश्व विरासत दिवस मनाएंगे
- विश्व की विरासत को देखने हम जरूर जाएं, विश्व विरासत दिवस मिलजुलकर हम मनाए
- आज हमको यह प्रण करके जाना है, हर साल धूमधाम से विरासत दिवस मनाना है
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